Edited By Ramanjot, Updated: 12 Mar, 2021 01:52 PM
बिहार के स्वास्थ्य विभाग की एक और लापरवाही सामने आई है। दरअसल, घूस लेते रंगे हाथों पकड़े गए डॉक्टर को स्वास्थ्य विभाग ने डबल प्रमोशन दे दिया। उन्हें पहले सिविल सर्जन बनाया गया और फिर दो ही महीने में स्वास्थ्य विभाग का अपर निदेशक बना दिया है।
पटनाः बिहार सरकार का स्वास्थ्य विभाग अपने कारनामों को लेकर अकसर चर्चा में रहता है, जिसके कारण सरकार को काफी फजीहत भी झेलनी पड़ती है। इसी कड़ी में विभाग की एक और लापरवाही सामने आई है। दरअसल, घूस लेते रंगे हाथों पकड़े गए डॉक्टर को स्वास्थ्य विभाग ने डबल प्रमोशन दे दिया। उन्हें पहले सिविल सर्जन बनाया गया और फिर दो ही महीने में स्वास्थ्य विभाग का अपर निदेशक बना दिया है।
स्वास्थ्य विभाग के अपर निदेशक बनाए गए डॉ रूपनारायण को दो महीने पहले अररिया का सिविल सर्जन बनाया था। वहीं अब उन्हें एक और प्रमोशन देकर स्वास्थ्य विभाग में अपर निदेशक बना दिया गया है। पूर्णिया के अधिवक्ता और कांग्रेसी नेता गौतम वर्मा ने राज्यपाल को पत्र लिखकर मामले की शिकायत की है और उनसे कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने आरोप लगाया कि 1998 में डॉ रूपनारायण प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी थे और उस समय निगरानी विभाग की टीम ने उन्हें 700 रुपए घूस लेते पकड़ा था।
निगरानी विभाग ने उस वक्त डॉ रूपनारायण के खिलाफ मामला दर्ज किया था जो अभी भी भागलपुर की निगरानी अदालत में चल रहा है। गौतम वर्मा ने कहा है कि घूसखोरी के आरोपी को स्वास्थ्य विभाग लगातार प्रोन्नति दे रहा है। बता दें कि इससे पहले भी स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही सामने आई थी, जिसमें एक मृत डॉक्टर को जिले का सिविल सर्जन बना दिया था।