Edited By Ramanjot, Updated: 06 Sep, 2020 04:55 PM
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को घोषणा की कि राज्य में अगर किसी अनुसूचित जाति-जनजाति के शख्स की हत्या होती है तो उसके परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाएगी। उनके इस बयान पर जन अधिकार पार्टी के अध्यक्ष पप्पू यादव ने जोरदार हमला...
पटनाः बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को घोषणा की कि राज्य में अगर किसी अनुसूचित जाति-जनजाति के शख्स की हत्या होती है तो उसके परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाएगी। उनके इस बयान पर जन अधिकार पार्टी के अध्यक्ष पप्पू यादव ने जोरदार हमला बोला है। उन्होंने पूछा कि नीतीश कुमार 15 वर्षों में जिंदा दलितों को कितना नौकरी दिए हैं?
पप्पू यादव ने ट्वीट कर कहा, "नीतीश कुमार 15 वर्षों में जिंदा दलितों को कितना नौकरी दिए हैं? यह बताएं! जिंदा रहने पर नौकरी नहीं, हत्या के बाद दलितों के परिजनों को नौकरी देंगे! झूठे कहीं के! दलित जानते हैं यह नौकरी नहीं, बस वोट की बात है।
बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति अधिनियम 1995 के तहत गठित राज्य स्तरीय सतर्कता और मॉनिटरिंग समिति की बैठक में अधिकारियों को निर्देश दिया था कि अगर एससी-एसटी शख्स की हत्या होती है तो पीड़ित परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने का प्रावधान बनाया जाए।