Edited By Nitika, Updated: 07 Dec, 2022 03:45 PM
केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस ने नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली बिहार सरकार पर दलितों, विशेषकर पासवान समुदाय के खिलाफ बदले की भावना से काम करने का आरोप लगाया। उन्होंने केंद्र में सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की बैठक में समुदाय के...
नई दिल्ली/पटनाः केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस ने नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली बिहार सरकार पर दलितों, विशेषकर पासवान समुदाय के खिलाफ बदले की भावना से काम करने का आरोप लगाया। उन्होंने केंद्र में सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की बैठक में समुदाय के सदस्यों के खिलाफ ‘बढ़ते' अपराधों का मुद्दा उठाया।
संसद के शीतकालीन सत्र के शुरू होने से एक दिन पहले राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के नेता ने केंद्र से इस मामले में दखल का अनुरोध किया। संसद का सत्र शुरू होने से एक दिन पहले राजग की बैठक में उन्होंने कहा कि अरवल में समुदाय की एक महिला को उसकी बेटी के साथ इसलिए जिंदा जला दिया गया कि उसने उसके साथ हो रहे यौन उत्पीड़न की शिकायत पुलिस से करने की हिम्मत दिखाई थी। उन्होंने दावा किया कि पुलिस ने शुरू में उसकी (महिला की) शिकायत पर कार्रवाई नहीं की। उन्होंने इस तरह की अन्य घटनाओं का भी जिक्र किया। पारस ने यह भी आरोप लगाया कि राज्य में जद (यू)-राजद-कांग्रेस गठबंधन सरकार द्वारा पासवान समुदाय के अधिकारियों को महत्वहीन पदों पर भेजा जा रहा है।
बता दें कि पासवान समुदाय को आमतौर पर राम विलास पासवान द्वारा गठित लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) का समर्थक माना जाता है। हालांकि, पार्टी में अब दो गुट हैं। एक गुट पारस के नेतृत्व वाला है, जबकि दूसरा गुट उनके भतीजे चिराग पासवान के नेतृत्व वाला है। दोनों गुट भाजपा के करीबी हैं। पारस ने दावा किया कि नीतीश के भाजपा से नाता तोड़ने के बाद समुदाय के खिलाफ अपराध की घटनाएं बढ़ रही हैं। राजग की बैठक की अध्यक्षता रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने की।