केंद्रीय बजट पर बोले पूर्व CM रघुवर दास- सही अर्थों में आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्था वाला Budget

Edited By Nitika, Updated: 01 Feb, 2023 04:30 PM

statement of former cm on the union budget

भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि अंत्योदय के लिए समर्पित मोदी सरकार ने लोक लुभावन बजट से इतर जनकल्याण वाला बजट संसद में पेश किया है।

 

रांचीः भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि अंत्योदय के लिए समर्पित मोदी सरकार ने लोक लुभावन बजट से इतर जनकल्याण वाला बजट संसद में पेश किया है।

रघुवर दास ने यहां कहा कि लोक लुभावन बजट में केवल वादे होते हैं, जबकि मोदी सरकार के बजट में बेहतर भारत के निर्माण के स्पष्ट इरादे हैं। अमृत काल के अपने पहले बजट में मोदी सरकार ने समृद्ध व समावेशी भारत की झलक पेश की है। इस बजट में परंपरा से लेकर आधुनिकता तक फोकस किया। यह बजट देश के विकास को गतिशील करेगा। रोजगार को बढ़ावा देगा। गरीब, किसान, मजदूर, महिला व युवाओं का सशक्तिकरण करेगा। सही अर्थों में ये आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्था वाला बजट है। पूरे देश के आत्मविश्वास और उज्जवल भविष्य को दर्शाने वाला बजट है। खेती में जहां मोदी सरकार परंपरागत मोड पर जा रही है, वहीं हमारे युवाओं को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, आईओटी, कोडिंग, ड्रोन आदि आधुनिक तकनीक सिखाने पर फोकस कर रही है।

वहीं पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि गरीबों के लिए मुफ्त राशन योजना को 1 साल और बढ़ाने, मोटे अनाज को बढ़ावा देने, रेलवे के लिए 2.40 लाख करोड़ के आवंटन, महिलाओं, युवाओं, दलितों, आदिवासियों, किसानों, मजदूरों के विकास के लिए नई योजनाएं मोदी सरकार की नीति और नियत को प्रदर्शित करता है। मध्यमवर्ग को मोदी सरकार ने बड़ी राहत प्रदान की है। नए टैक्स रेजीम में आयकर दरों में बड़ी राहत प्रदान करने की है। 2047 तक विकसित भारत का लक्ष्य कर मोदी सरकार ने बजट की सात प्राथमिकताएं ‘सप्तऋषि' निर्धारित की है। इनमें समावेशी विकास, अंतिम छोर-अंतिम व्यक्ति तक पहुंच, बुनियादी ढांचा और निवेश, निहित क्षमताओं का विस्तार, हरित विकास, युवा शक्ति तथा वित्तीय क्षेत्र शामिल है।

वहीं रघुवर दास ने कहा कि जनजातीय समूहों की सामाजिक-आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए पीएमपीबीटीजी विकास मिशन शुरू किया जाएगा, ताकि पीबीटीजी बस्तियों को मूलभूत सुविधाओं से परिपूर्ण किया जा सके। 3.5 लाख जनजातीय विद्यार्थियों के लिए 740 एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालयों में 38,800 अध्यापकों की नियुक्ति, 2047 तक आदिवासी क्षेत्रों से सिकल सेल एनीमिया समाप्त करने का लक्ष्य रखा गया है। ये सारे कदम मोदी सरकार की जनजाति समाज के प्रति प्राथमिकता को दर्शाता है। बजट में कृषि स्वास्थ्य उद्योग आधारभूत संरचना सभी के लिए पर्याप्त प्रावधान किए गए हैं। बुजुर्गों और महिलाओं को बचत के लिए प्रोत्साहित किया गया है।
 

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