Edited By Diksha kanojia, Updated: 23 Feb, 2022 02:50 PM
हाईकोर्ट में छठी जेपीएससी परीक्षा परिणाम को एकल पीठ द्वारा खारिज किये जाने के फैसले को माननीय खंडपीठ के समक्ष चुनौती दी गयी थी। प्रार्थी शिशिर तिग्गा समेत अन्य याचिकाकर्ताओं की ओर से दाखिल याचिका में हाईकोर्ट की एकल पीठ के आदेश को गलत बताते हुए उस...
रांचीः झारखंड उच्च न्यायालय ने बुधवार को छठी जेपीएससी के रिजल्ट को खारिज करने के फैसले को एकल पीठ के फैसले को बरकरार रखा है। इस फैसले से छठी जेपीएससी संयुक्त सेवा परीक्षा में सफल 326 सफल अभ्यर्थियों को बड़ा झटका लगा है।
हाईकोर्ट में छठी जेपीएससी परीक्षा परिणाम को एकल पीठ द्वारा खारिज किये जाने के फैसले को माननीय खंडपीठ के समक्ष चुनौती दी गयी थी। प्रार्थी शिशिर तिग्गा समेत अन्य याचिकाकर्ताओं की ओर से दाखिल याचिका में हाईकोर्ट की एकल पीठ के आदेश को गलत बताते हुए उस आदेश को निरस्त करने की गुहार लगायी गयी थी। याचिका में कहा गया था कि छठी जेपीएससी की मुख्य परीक्षा में पेपर वन (हिन्दी व अंग्रेजी) का अंक कुल प्राप्तांक में जोड़ा जाना सही है। इसी आधार पर जेपीएससी ने मुख्य परीक्षा के बाद मेरिट लिस्ट जारी की थी। इसमें कोई गड़बड़ी नहीं है।
गौरतलब है कि झारखंड लोक सेवा आयोग द्वारा ली गयी छठी जेपीएससी परीक्षा के रिजल्ट को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर हाईकोर्ट की सिंगल बेंच के न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय कुमार द्विवेदी की अदालत ने फैसला सुनाते हुए छठी जेपीएससी की मेरिट लिस्ट रद्द करते हुए 326 अभ्यर्थियों की नियुक्ति को गलत बताया था, जिसके बाद से इस परीक्षा में सफल और असफल हुए अभ्यर्थियों का भविष्य अधर में लकटा हुआ नजर आ रहा है। इस फैसले के खिलाफ सफल अभ्यर्थियों ने हाईकोर्ट की डिविजन बेंच में अपील दायर की गयी थी, जिसे डिवीजन बेंच ने भी खारिज कर दिया है।