नाबार्ड की सहायता से बिहार की ग्रामीण सड़कों को मिली नई रफ्तार, रोड से हो रहा ग्रामीण अर्थव्यवस्था को लाभ

Edited By Ramanjot, Updated: 12 Aug, 2025 07:30 PM

bihar bridges construction

राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) की सहायता से बिहार में ग्रामीण सड़कों का जाल बुनने का काम लगभग पूरा कर लिया गया है। राज्य में बड़ी संख्या में ग्रामीण सड़कों के निर्माण से बिहार के गांवों से शहरों की दूरी लगातार कम होती जा रही है।

पटना:राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) की सहायता से बिहार में ग्रामीण सड़कों का जाल बुनने का काम लगभग पूरा कर लिया गया है। राज्य में बड़ी संख्या में ग्रामीण सड़कों के निर्माण से बिहार के गांवों से शहरों की दूरी लगातार कम होती जा रही है। जबकि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को यह सड़कें नई गति दे रही हैं। 

इस योजना के तहत विभिन्न जिलों में स्वीकृत सड़कों के निर्माण की ग्रामीण कार्य विभाग ने जिलावार प्रगति रिपोर्ट जारी की है। इसके मुताबिक वर्ष 2023 में राज्य की कुल 2024 ग्रामीण सड़कों के निर्माण की प्रशासनिक स्वीकृति प्रदान की गई थी। उसमें अबतक 1857 सड़कों का निर्माण कार्य पूरा कर लिया गया है। नाबार्ड के सहयोग से निर्मित इन सड़कों की कुल लंबाई 4,822 किलोमीटर से भी अधिक है| इसी तरह, इन ग्रामीण सड़कों के साथ-साथ कुल 1234 पुलों के निर्माण का लक्ष्य भी नाबार्ड के सहयोग से बनने वाली सड़कों के साथ निर्धारित किया गया था। जिसमें कुल 900 पुलों के निर्माण का कार्य पूरा कर लिया गया है। शेष पुलों का निर्माण का कार्य जारी है।

नालंदा समेत इन जिलों का प्रदर्शन शानदार

ग्रामीण कार्य विभाग द्वारा उपलब्ध कराई गई जानकारी के अनुसार ग्रामीण सड़कों के निर्माण में नालंदा जिला सबसे आगे है। जहां कुल 214 सड़कों की स्वीकृति में से 199  सड़कों का निर्माण पूरा किया जा चुका है। नालंदा में 370.712 किलोमीटर से भी अधिक सड़कों का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। जबकि लक्ष्य 396.194 किलोमीटर सड़क के निर्माण का तय किया गया था। साथ ही नालंदा में 67 पुल का निर्माण किया जाना था, जिसमें 59 पुल बनकर तैयार हो चुके हैं। वहीं, गया जी में कुल 129 सड़कों के निर्माण की मिली स्वीकृति के विरुद्ध 120 सड़कों का निर्माण किया जा चुका है। गयाजी में कुल 395.245 किलोमीटर लंबाई की सड़कें बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया था। जिसके विरुद्ध अबतक 365.782 किलोमीटर सड़क का निर्माण पूरा कर लिया गया है। जबकि गयाजी में निर्माणाधीन 57 पुलों में 46 पुलों का निर्माण भी पूरा हो चुका है। 

वहीं, राजधानी पटना जिला में कुल 166 ग्रामीण सड़कों के निर्माण की स्वीकृति दी गई थी। जिनमें से 157 सड़कों का निर्माण किया जा चुका है। पटना में कुल 360 किमी से अधिक ग्रामीण सड़कों के निर्माण का लक्ष्य था। जबकि इस लक्ष्य के विरुद्ध कुल 329.708 किलोमीटर सड़क का निर्माण किया जा चुका है। पटना के ग्रामीण इलाकों में निर्माणाधीन कुल 54 पुलों में 46 पुल बनकर तैयार हो चुके हैं। वहीं, औरंगाबाद में कुल 244.856 किलोमीटर, दरभंगा में 235.740  किमी, पूर्वी चंपारण में 230.772 किमी, मुंगेर में 202.814 किमी, रोहतास में 176.462 किमी, जहानाबाद में 169.606 किमी, सीतामढ़ी में 151.346 किमी, मुजफ्फरपुर में 139.682 किमी सड़कों का निर्माण पूर्ण हो चुका है। वहीं, जमुई, मधुबनी, समस्तीपुर, गोपालगंज, किशनगंज और नवादा में भी ग्रामीण सड़कों के निर्माण का काम लगभग पूर्ण हो चुका है।

ग्रामीण सड़कों के निर्माण में शीर्ष 10 जिले

नालंदा- 370.712 किमी, गयाजी- 365.728 किमी, पटना- 329.708, किमी, औरंगाबाद- 244.856 किमी, दरभंगा- 235.782 किमी, पूर्वी चंपारण- 230.772 किमी, मुंगेर- 202.814 किमी, रोहतास- 176.462 किमी, जहानाबाद- 169.606 किमी, सीतामढ़ी- 151.346 किमी।
 

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