"कांग्रेस पार्टी की संविधान बचाओ रैली एक नौटंकी", बोले बाबूलाल मरांडी - खुद 60 वर्षों के शासन में 79 बार संविधान में किए संशोधन

Edited By Harman, Updated: 05 May, 2025 09:10 AM

congress party s save constitution rally is a drama  said babulal marandi

झारखंड में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष एवम नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने कांग्रेस पार्टी द्वारा आयोजित संविधान बचाओ रैली पर बड़ा निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी का संविधान बचाओ रैली एक नौटंकी है। मरांडी ने कहा कि कांग्रेस ने अपने 60...

Jharkhand Politics: झारखंड में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष एवम नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने कांग्रेस पार्टी द्वारा आयोजित संविधान बचाओ रैली पर बड़ा निशाना साधा। मरांडी ने रविवार को भाजपा प्रदेश कार्यालय में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में कहा कि कांग्रेस पार्टी ने संविधान की मर्यादाओं को , लोकतंत्र को जितना प्रहार किए वो देश के इतिहास में काले पन्ने के रूप में दर्ज है। कहा कि कांग्रेस ने सत्ता के लिए संविधान की मूल भावना को भी बदल दिया और लोकतंत्र को मार डालने की हर संभव कोशिश की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी का संविधान बचाओ रैली एक नौटंकी है। मरांडी ने कहा कि कांग्रेस ने अपने 60 वर्षों के शासन में 79 बार संविधान में संशोधन किए। जो केवल तुष्टीकरण और सत्ता के लिए हुआ, कांग्रेस ने संविधान को तुष्टीकरण का घोषणापत्र बना दिया।

"कांग्रेस ने अनुच्छेद 356 का बार-बार दुरुपयोग किया"

नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस सत्ता और संविधान दोनों को अपनी जागीर समझती रही है। कांग्रेस पर राष्ट्रपति शासन के दुरुपयोग का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि गैर-कांग्रेसी सरकारों को गिराने के लिए अनुच्छेद 356 का बार-बार दुरुपयोग हुआ। 1966 से 1977 के बीच 25 संशोधन इसका प्रमाण हैं।

आपातकाल के दौरान किए गए 42वें संशोधन को  लेकर कही ये बात

नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने  आपातकाल के दौरान किए गए 42वें संशोधन को "मिनी संविधान" बताते हुए उन्होंने कहा कि यह न्यायपालिका, संसद और मौलिक अधिकारों को कमजोर करने की कोशिश थी। प्रस्तावना में "समाजवादी", "धर्मनिरपेक्ष" जैसे शब्द जोड़ने को उन्होंने जनमत के खिलाफ और तुष्टीकरण से प्रेरित बताया। राजीव गांधी सरकार पर हमला करते हुए मरांडी ने शाहबानो केस का ज़िक्र किया, जिसमें सुप्रीम कोर्ट के फैसले को कानून बनाकर पलट दिया गया। इसे उन्होंने समानता के अधिकार (अनुच्छेद 14) का उल्लंघन बताया। राहुल गांधी द्वारा संसद में कैबिनेट पेपर फाड़े जाने को मरांडी ने संसदीय गरिमा का अपमान करार दिया। साथ ही ईडी और न्यायालय के खिलाफ कांग्रेस द्वारा दिए गए बयानों और प्रदर्शनों को संविधान का अपमान बताया। मरांडी ने मांग की कि कांग्रेस अपने इतिहास के लिए देश की जनता से माफी मांगे। प्रेसवार्ता में पार्टी प्रवक्ता राफिया नाज और योगेंद्र प्रताप सिंह भी मौजूद रहे।

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