बिहार को अगले वित्तीय वर्ष में ससमय विभिन्न योजनाओं का मिला आवंटन- मंत्री मंगल पांडेय

Edited By Swati Sharma, Updated: 05 Jan, 2025 01:52 PM

bihar received timely allocation for various schemes in the next financial year

बिहार के कृषि मंत्री मंगल पांडेय ने केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण तथा ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान को धन्यवाद देते हुए कहा कि बिहार को अगले वित्तीय वर्ष में ससमय विभिन्न योजनाओं का आवंटन दे दिया गया है। शिवराज के साथ पांडेय की वीडियो...

पटना: बिहार के कृषि मंत्री मंगल पांडेय ने केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण तथा ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान को धन्यवाद देते हुए कहा कि बिहार को अगले वित्तीय वर्ष में ससमय विभिन्न योजनाओं का आवंटन दे दिया गया है।

'इससे हम लोग बेहतर योजना बना पाएंगे'
शिवराज के साथ पांडेय की वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए कृषि भवन में एक बैठक हुई, जिसमें किसान कल्याण के लिए कार्ययोजना एवं आगामी बजट पर चर्चा की गई। उसी क्रम में पांडेय ने शिवराज को धन्यवाद देते हुए कहा कि बिहार को अगले वित्तीय वर्ष में ससमय विभिन्न योजनाओं का आवंटन दे दिया गया है। इससे हम लोग इस वर्ष बेहतर योजना बना पाएंगे और समय पर क्रियान्वयन कर पाएंगे। मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार बिहार सरकार के पदाधिकारी भारत सरकार के पदाधिकारियों से समन्वय कर सभी योजनाओं का त्वरित कार्यान्वयन कर रहे हैं, इस कारण प्रदेश में भारत सरकार से प्राप्त सभी राशि का शत-प्रतिशत व्यय कर दिया गया है।

'बिहार की जीडीपी में कृषि क्षेत्र का योगदान 20 प्रतिशत रहा'
पांडेय ने कहा कि राज्य में कृषि विज्ञान केंद्र को पहले के मुकाबले और सुदृढ़ करने की दिशा में प्रयास जारी है, जिससे किसानों को उनका लाभ बेहतर तरीके से मिल सके। बिहार की जीडीपी में कृषि क्षेत्र का योगदान पिछले वर्ष लगभग 20 प्रतिशत रहा है। केंद्र से मिल रही सहयोग के बाद आने वाले समय में बिहार की जीडीपी में कृषि का योगदान पहले के मुकाबले और बढ़ेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में कृषि एवं उसकी सहयोगी संस्थाओं का बहुमूल्य योगदान देश की जीडीपी को बढ़ाने में आगामी वर्ष भी जारी रहेगा।

'छोटे किसानों को दी जा रही सब्सिडी के लिए केंद्र सरकार बधाई के पात्र'
पांडेय ने कहा कि मोदी के नेतृत्व में देश के छोटे एवं सीमांत किसानों को सशक्त बनाने के लिए कृषक उत्पादक संगठन (एफपीओ) को एक आंदोलन के रूप में विकसित करने की योजना है। वहीं छोटे किसानों को केंद्र की ओर से दी जा रही सब्सिडी के लिए केंद्र सरकार बधाई के पात्र हैं। जब छोटे किसानों की आय बढ़ेगी तो वे विनिर्मित वस्तुओं की मांग करेंगे, जिससे विनिर्माण क्षेत्र में बदलाव आएगा। बिहार जैसे प्रदेश में भूमिहीन किसानों व छोटे सीमांत किसानों की आर्थिक तरक्की केंद्र व राज्य की जनकल्याणकारी योजनाओं से हो रही है। इस बैठक में कृषि सचिव संजय अग्रवाल एवं प्रबंध निदेशक बिहार राज्य बीज निगम के आलोक रंजन घोष भी सम्मिलित थे।

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