Edited By Geeta, Updated: 06 Apr, 2025 03:56 PM

Jharkhand government employees news: हेमंत सोरेन सरकार ने झारखंड के सरकारी कर्मचारियों (jharkhand government employees) को झटका दिया है। बता दें कि, सरकार ने झारखंड सचिवालय सेवा संवर्ग और निजी सहायक संवर्ग कर्मियों का वेतन घटाने का फैसला लिया है।
Jharkhand government employees news: हेमंत सोरेन सरकार ने झारखंड के सरकारी कर्मचारियों (jharkhand government employees) को झटका दिया है। बता दें कि, सरकार ने झारखंड सचिवालय सेवा संवर्ग और निजी सहायक संवर्ग कर्मियों का वेतन घटाने का फैसला लिया है। इतना ही नहीं झारखंड सचिवालय सेवा संवर्ग और निजी सहायक संवर्ग कर्मियों को जो साल 2019 से प्राप्त हो रही है, इन राशियों की वसूली भी होगी। इसको लेकर वित्त विभाग ने संकल्प जारी कर दिया है।
अत्यधिक भुगतान हुई राशि की कटौती का प्रस्ताव तैयार
सरकार के फैसले के बाद वित्त विभाग द्वारा अत्यधिक भुगतान हुई राशि की कटौती का प्रस्ताव तैयार कर लिया है। जल्द ही इस संबंध में अधिसूचना जारी कर दी जाएगी। बता दें कि, इन कर्मियों का वेतन निर्धारण न्यूनतम वेतन 18460 रुपये के हिसाब से तय हुआ था। वहीं सभी एक अक्तूबर 2019 के बाद से वेतन प्राप्त कर रहे हैं। लेकिन, हेमंत सरकार ने इसे गलत बताया। उच्चस्तरीय कमेटी ने इंट्री पे के आधार पर 1.1.2006 के बाद नियुक्त कर्मियों के वेतनमान के आधार पर 1.1.2006 के कर्मियों के वेतन निर्धारण को गलत करार दिया था। कुछ दिन पहले मंत्रिपरिषद की बैठक में इसका फैसला लिया गया था।
संकल्प पत्र में क्या कहा गया?
वित्त विभाग ने जो संकल्प जारी किया है उसके मुताबिक, “एक जनवरी 2006 के पूर्व पदस्थापित झारखंड सचिवालय के सहायक और निजी सहायक के मूल कोटि के कर्मियों के मामले में अलग निर्णय के तहत वेतन निर्धारण किया गया है। इसके तहत न्यूनतम वेतन 18460 रुपये की स्वीकृति प्रदान की गयी थी, जबकि छठे वेतन पुनरीक्षण के आलोक में वेतन निर्धारण की प्रक्रिया का प्रावधान पूर्व से ही है। ऐसे में किसी पद विशेष के लिए छठे वेतन पुनरीक्षित वेतनमान में अलग निर्णय के तहत वेतन निर्धारण किया जाना उचित नहीं है”।