Edited By Harman, Updated: 12 Feb, 2025 02:49 PM
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बिहार की मैथिली भाषा को केंद्र की ओर से बड़ा सम्मान दिया गया है। दरअसल मंगलवार को लोकसभा में बजट सत्र (Parliament Budget Session2025) के दौरान मैथिली समेत 6 अन्य भारतीय भाषाएं बोडो, डोगरी, मणिपुरी, उर्दू और संस्कृत को संसदीय कार्यप्रणाली में शामिल कर...
Bihar News: बिहार की मैथिली भाषा को केंद्र की ओर से बड़ा सम्मान दिया गया है। दरअसल मंगलवार को लोकसभा में बजट सत्र (Parliament Budget Session2025) के दौरान मैथिली समेत 6 अन्य भारतीय भाषाएं बोडो, डोगरी, मणिपुरी, उर्दू और संस्कृत को संसदीय कार्यप्रणाली में शामिल कर लिया गया है। वहीं, अब मैथिली भाषा में भी सदन के भाषणों को ट्रांसलेट किया जाएगा।
मैथिली भाषा को केंद्र की ओर से मिला बड़ा सम्मान-डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा
बिहार के उप मुख्यमंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि मखाने के बाद अब बिहार की मैथिली भाषा को केंद्र की ओर से बड़ा सम्मान दिया गया है। सिन्हा ने मंगलवार को जारी बयान में कहा केंद्र सरकार ने बिहार को एक और बड़ी सौगात दे दी है। मखाने के बाद अब बिहार की मैथिली भाषा को केंद्र की ओर से बड़ा सम्मान दिया गया है। केंद्र ने मैथिली भाषा को सदन के भाषणों के ट्रांसलेट में शामिल कर दिया है। पहले इसमें 22 भाषा शामिल थी वहीं आज छह और भाषा को जोड़ा गया है, जिसमें से एक मैथिली भाषा भी है। सिन्हा ने कहा,सदन में यदि सांसद हिन्दी, अंग्रेजी या किसी अन्य भाषा में अपनी बातों को रख रहे हैं तो आप उसे ट्रांसलेट कर मैथिली में सुन सकते हैं।
"प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में लगातार बिहार का सम्मान बढ़ रहा"
वहीं सम्राट चौधरी ने सोशल मीडिया 'एक्स' पर लिखा, "हर बिहारवासी के लिए गौरव का क्षण! बिहार की गौरव भाषा मैथिली समेत 6 अन्य भारतीय भाषाओं को संसदीय कार्यप्रणाली का हिस्सा बनाया गया है। अब इन भाषाओं में भी लोकसभा की कार्यवाही का त्वरित भाषांतर होगा।" उन्होंने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में मखाने से लेकर मैथिली तक, बिहार का सम्मान लगातार बढ़ रहा है।
बता दें कि पहले इस सूची में हिन्दी, अंग्रेजी सहित 22 भाषाएं शामिल थी वहीं मंगलवार को छह अन्य भाषाओं को शामिल किया गया है, जिसके बाद अब सदन के भाषण को आम लोग 28 भाषाओं में सुन सकेंगे।