Edited By Swati Sharma, Updated: 17 Oct, 2024 05:22 PM
उत्तर बिहार के बिजली उपभोक्ता डिजिटल माध्यमों को तेजी से अपनाते हुए नए मील के पत्थर स्थापित कर रहे हैं। बिजली वितरण के क्षेत्र में उपभोक्ताओं की बढ़ती जागरूकता का उदाहरण (16 अक्टूबर 2024) कल देखा गया, जब एक ही दिन में कुल 3 लाख 83 हजार उपभोक्ताओं ने...
पटना: उत्तर बिहार के बिजली उपभोक्ता डिजिटल माध्यमों को तेजी से अपनाते हुए नए मील के पत्थर स्थापित कर रहे हैं। बिजली वितरण के क्षेत्र में उपभोक्ताओं की बढ़ती जागरूकता का उदाहरण (16 अक्टूबर 2024) कल देखा गया, जब एक ही दिन में कुल 3 लाख 83 हजार उपभोक्ताओं ने ऑनलाइन रिचार्ज किया और इस माध्यम से लगभग 11 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ। यह पहली बार है कि एक दिन में इतनी बड़ी संख्या में उपभोक्ताओं ने ऑनलाइन रिचार्ज के माध्यम से भुगतान किया है।
अक्टूबर के लिए औसत दैनिक राजस्व 2.73 करोड़ रहा
इससे पहले 18 सितम्बर, 2024 को 333,763 ट्रांजेक्शन के जरिए सर्वाधिक 7.58 करोड़ रुपए का राजस्व एकत्र किया था। रिकॉर्ड रिचार्ज ट्रांजेक्शन के अलावा कल पुनः कनेक्शन में भी लोगों की बेहतर भागीदारी देखी गई। 396,688 उपभोक्ताओं के कनेक्शन काटे गए, जिनमें से 311,910 उपभोक्ताओं को उसी दिन जोड़ दिया गया। जिसका श्रेय भी कुशल डिजिटल री कनेक्शन प्रणाली को ही जाता है। अक्टूबर 2024 के लिए औसत दैनिक राजस्व 2.73 करोड़ रुपये रहा। जो राजस्व प्रवाह और उपभोक्ता संतुष्टि बढ़ाने में डिजिटल सेवाओं के महत्व को प्रदर्शित करता है। उत्तर बिहार विद्युत वितरण कंपनी के प्रबंध निदेशक नीलेश देवरे, आईएएस ने अपने एक द्विट में यह जानकारी देते हुए इस उपलब्धि पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा, "उपभोक्ताओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए हम लगातार ऑनलाइन सेवाओं को सरल और सुगम बना रहे हैं। इस प्रकार की रिकॉर्ड रिचार्ज संख्या से स्पष्ट है कि उपभोक्ता डिजिटल माध्यमों को अपनाकर बिलिंग और शुल्क जमा करने में आ रही समस्याओं से निजात पा रहे हैं।"
2019 में शुरू की गई थी स्मार्ट मीटर परियोजना
बिहार में बिजली वितरण को अधिक पारदर्शी और कुशल बनाने के उद्देश्य से स्मार्ट मीटर परियोजना को 2019 में शुरू किया गया था। राज्य में अब तक करीब 31 लाख स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं, जिनमें से एक बड़ा हिस्सा उत्तर बिहार विद्युत वितरण कंपनी के अंतर्गत आता है। इस परियोजना के तहत राज्यभर में स्मार्ट मीटर लगाने का लक्ष्य 2025 तक पूरा करने की योजना है। स्मार्ट मीटर और डिजिटल भुगतान विकल्पों के विस्तार से उपभोक्ताओं को काफी सहूलियत मिली है। पहले उपभोक्ताओं को बिलिंग में देरी, गलत रीडिंग और समय पर भुगतान न होने जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता था। स्मार्ट मीटर परियोजना की शुरुआत के बाद से उपभोक्ताओं को वास्तविक समय पर बिजली खपत की जानकारी मिल रही है, जिससे वे बेहतर तरीके से अपनी ऊर्जा खपत का प्रबंधन कर पा रहे हैं। इससे बिजली वितरण और राजस्व संग्रहण में भी सुधार हो रहा है।
उत्तर बिहार बिजली वितरण कंपनी उपभोक्ताओं को निरंतर बेहतर सेवाएं प्रदान करने और राज्य के विकास में योगदान देने के लिए प्रतिबद्ध है। कंपनी भविष्य में भी डिजिटल और तकनीकी सुधारों पर जोर देते हुए बिजली वितरण को और भी अधिक कुशल और पारदर्शी बनाएगी।