Edited By Ramanjot, Updated: 18 Nov, 2023 09:49 AM
सुशील मोदी ने बयान जारी कर कहा कि बीपीएससी के शिक्षक अभ्यर्थियों और नवनियुक्त शिक्षकों के लोकतंत्रिक अधिकार कुचले जा रहे हैं, कल अन्य कर्मचारियों पर यही सख्ती होगी और फिर विपक्ष की आवाज दबाई जाएगी। उन्होंने कहा कि बीपीएससी नवनियुक्त शिक्षक संघ गठित...
पटना: बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने शुक्रवार को कहा कि बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) के नवनियुक्त शिक्षकों को अपना संघ या मंच बनाने से रोकने की कार्रवाई कर नीतीश कुमार राज्य में आपातकाल-जैसी स्थिति बना रहे हैं।
सुशील मोदी ने बयान जारी कर कहा कि बीपीएससी के शिक्षक अभ्यर्थियों और नवनियुक्त शिक्षकों के लोकतंत्रिक अधिकार कुचले जा रहे हैं, कल अन्य कर्मचारियों पर यही सख्ती होगी और फिर विपक्ष की आवाज दबाई जाएगी। उन्होंने कहा कि बीपीएससी नवनियुक्त शिक्षक संघ गठित करने के आरोप में मधुबनी की शिक्षिका बबीता चौरसिया की नियुक्ति आनन-फानन में रद्द करना अतिपिछड़ा समाज का अपमान है। सरकार को यह आदेश वापस लेना चाहिए।
"मनीष कश्यप की गिरफ्तारी के बाद शिक्षकों पर निशाना"
भाजपा सांसद ने कहा कि नीतीश सरकार ने यूट्यूबर पत्रकार मनीष कश्यप को फर्जी मामले में गिरफ्तार कर पहले ही अपना तानाशाही चेहरा दिखा दिया था। मीडिया पर भी सरकार विरोधी सामग्री न छापने का दबाव बढ़ता जा रहा है और अब इनके निशाने पर हैं युवा शिक्षक हैं। उन्होंने कहा कि जो सरकार बालू-शराब माफिया के आगे घुटने टेक चुकी है, वह आयोग की शिक्षक भर्ती परीक्षा पर सवाल उठाने वाले करीब छह युवा अभ्यर्थियों को नोटिस देकर उन्हें डराना चाहती है।
"इस सरकार की तानाशाही नहीं चलेगी"
मोदी ने चुनौती देते हुए कहा कि शिक्षक अभ्यर्थियों के नाम-फोटो सार्वजनिक करने वाली सरकार में यदि हिम्मत है, तो वह जमुई में दारोगा की हत्या के आरोपितों के नाम भी फोटो के साथ सार्वजनिक करे। उन्होंने कहा कि जब आपातकाल का विरोध करनेे वाले लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार ही आपातकाल थोपने वाली कांग्रेस की गोद में चले गए हैं, तो वे लोकतंत्र का गला ही दबाएंगे। भाजपा सांसद ने कहा कि जब इंदिरा गांधी की तानाशाही नहीं चली, तो इस सरकार की तानाशाही भी नहीं चलेगी। उन्होंने कहा कि भाजपा और बिहार के युवा इस रवैये के विरुद्ध कमर कस चुके हैं।