Edited By Ramanjot, Updated: 25 Apr, 2025 09:22 PM

राज्य सरकार ने मंत्रिपरिषद की बैठक में वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए मुख्यमंत्री विद्युत उपभोक्ता सहायता योजना के अंतर्गत 15 हजार 995 करोड़ रुपये अनुदान की स्वीकृति दी गई है।
पटना :राज्य सरकार ने मंत्रिपरिषद की बैठक में वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए मुख्यमंत्री विद्युत उपभोक्ता सहायता योजना के अंतर्गत 15 हजार 995 करोड़ रुपये अनुदान की स्वीकृति दी गई है। इससे उपभोक्ताओं को सस्ती दर पर बिजली मुहैया कराने में सहूलियत होगी।
वित्तीय वर्ष 2017-18 से बिहार विद्युत विनियामक आयोग की तरफ से लागत आधारित बिजली दरें निर्धारित की जा रही हैं। राज्य सरकार के स्तर से इन दरों के अनुपात में उपभोक्ताओं को सस्ती बिजली देने के लिए प्रतिवर्ष अनुदान की व्यवस्था की जाती रही है। इसी क्रम में वित्तीय वर्ष 2024-25 में स्वीकृत 15 हजार 343 करोड़ रुपए की तुलना में चालू वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए अनुदान की राशि में 4 फीसदी की वृद्धि की गई है।
इस तरह बढ़ोतरी की गई बिजली दर में
इस अनुदान से राज्य के सभी विद्युत उपभोक्ताओं को लाभ होगा। ग्रामीण क्षेत्रों के घरेलू उपभोक्ताओं की स्लैब दरों (0-50 यूनिट एवं 50 यूनिट से ऊपर) को समाप्त कर सभी यूनिट पर अब न्यूनतम दर लागू की गई है। 50 यूनिट से अधिक खपत करने वाले इस क्षेत्र के उपभोक्ताओं को प्रति यूनिट 54 पैसे की राहत मिलेगी। इससे राज्य के लगभग 1 करोड़ 25 लाख ग्रामीण उपभोक्ताओं को लाभ होगा। इसी तरह स्मार्ट प्री-पेड मीटर के माध्यम से बिजली उपयोग करने वाले उपभोक्ताओं को 25 पैसे प्रति यूनिट की अतिरिक्त रियायत दी जाएगी।
कृषि क्षेत्र के उपभोक्ताओं को विशेष प्राथमिकता
इस योजना के तहत कृषि क्षेत्र के उपभोक्ताओं को विशेष प्राथमिकता दी गई है। अब कृषि उत्पाद भंडारण के लिए कोल्ड स्टोरेज की कृषि दर पर अर्थात सिर्फ 55 पैसे प्रति यूनिट पर विद्युत आपूर्ति की जाएगी। इससे भंडारण लागत में कमी आएगी और आम जनता को सस्ती दर पर कृषि उत्पाद उपलब्ध हो सकेंगे। कृषि उपभोक्ताओं के लिए निर्धारित दर से 92 फीसदी अनुदान दिए जाने से उन्हें 55 पैसे प्रति यूनिट का भुगतान करना पड़ेगा।
बीपीएल परिवार को खास राहत
बीपीएल (कुटीर ज्योति) परिवारों के लिए बिजली की न्यूनतम दर 1.97 रुपए प्रति यूनिट, ग्रामीण घरेलू उपभोक्ताओं के लिए 2.45 रुपए, व्यावसायिक ( ग्रामीण) के लिए 3.35 रुपए, शहरी घरेलू उपभोक्ताओं के लिए 4.12 रुपए, हर घर नल का जल के लिए 2.45 रुपए, लघु उद्योगों के लिए 6.00 रुपए तथा वृहद उद्योगों के लिए 6.40 रुपए प्रति यूनिट न्यूनतम दर तय की गई है।
ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तरफ से जनता से किए गए निर्बाध, गुणवत्ता पूर्ण एवं सस्ती बिजली के वादे को लगातार निभाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बिजली के उत्पादन, संचरण एवम् वितरण में बढ़ती लागत के कारण निर्धारित विद्युत दर काफी अधिक होती है, जिससे अधिकांश हिस्से को राज्य सरकार की तरफ से अनुदान के रूप में वहन कर लिए जाने से उपभोक्ताओं को बहुत सस्ते दर पर बिजली मुहैया कराई जा रही है। मुख्यमंत्री विद्युत उपभोक्ता सहायता योजना राज्य सरकार की जन-कल्याणकारी सोच का जीवंत प्रमाण है। इस योजना से ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों के करोड़ों उपभोक्ताओं को लाभ मिलेगा। राज्य सरकार का प्रयास है कि हर घर तक किफायती, गुणवत्तापूर्ण और निरंतर बिजली पहुंचे, जिससे बिहार के सामाजिक-आर्थिक विकास को गति मिले।