Edited By Swati Sharma, Updated: 05 May, 2023 05:33 PM

ललन सिंह ने कहा कि जातीय जनगणना के संबंध में अगर पुराने इतिहास में जाएंगे, जब इस देश में मंडल कमीशन लागू हुआ था सर्वोच्च न्यायालय में एक-एक मुकदमा दायर हुआ था। सर्वोच्च न्यायालय के संविधान पीठ ने यह विश्लेषण किया था और यह निर्देश दिया था कि सभी...
पटना(अभिषेक कुमार सिंह): बिहार में हो रही जातीय आधारित गणना पर हाईकोर्ट के स्टे पर जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने कहा कि जातीय जनगणना की आवश्यकता है। मुख्यमंत्री ने जातीय जनगणना का फैसला सभी दलों की सहमति से लिया। अब कुछ दल पर्दे के पीछे से जातीय जनगणना का विरोध करवा रहे हैं, कोर्ट में मुकदमा करवा रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोर्ट का जो भी फैसला आया है। उस फैसले के आधार पर कानूनी राय लेकर जो उचित कदम होगा सरकार जरूर उठाएगी।
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"पटना उच्च न्यायालय के निर्देश की जा रही समीक्षा"
ललन सिंह ने कहा कि जातीय जनगणना के संबंध में अगर पुराने इतिहास में जाएंगे, जब इस देश में मंडल कमीशन लागू हुआ था। सर्वोच्च न्यायालय में एक-एक मुकदमा दायर हुआ था। सर्वोच्च न्यायालय के संविधान पीठ ने यह विश्लेषण किया था और यह निर्देश दिया था कि सभी राज्यों में सभी जाति और धर्म के लोगों की गणना कराई जाए। अगर राज्य सरकार बिहार में जातीय गणना करा रही है तो जातीय जनगणना और जातीय गणना दोनों अलग-अलग चीज है। जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि जो भी पटना उच्च न्यायालय का निर्देश आया है, उसकी समीक्षा कर रहे हैं।
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"बीजेपी पर्दे के पीछे से कर रही जातीय गणना का विरोध"
ललन सिंह ने कहा कि आखिर गाज़ियाबाद का आदमी बिहार में हो रही जातीय गणना से कैसे प्रभावित हो रहा है यह सोचने वाली बात है। बीजेपी पर्दे के पीछे से इसका विरोध कर रही है। बीजेपी के लोग शुरू से नहीं चाहते थे कि बिहार में जातीय गणना हो।