Edited By Ramkesh, Updated: 16 Dec, 2024 07:38 PM
बिहार सरकार में मंत्री डॉ० प्रेम कुमार ने औरंगाबाद जिलें में 200 मटी के तीन गोदाम महफिल-कालीन प्राथमिक बुनकर स०स० ओबरा वं 2 कम्पोजिट यूनिट, बेगूसराय जिलें में 200 मटी 3 गोदाम, 500, मटी के 3 गोदाम, 1000 मटी के 6 गोदाम वं तीन कम्पोजिट यूनिट, पूर्णियां...
पटना: बिहार सरकार में मंत्री डॉ० प्रेम कुमार ने औरंगाबाद जिलें में 200 मटी के तीन गोदाम महफिल-कालीन प्राथमिक बुनकर स०स० ओबरा वं 2 कम्पोजिट यूनिट, बेगूसराय जिलें में 200 मटी 3 गोदाम, 500, मटी के 3 गोदाम, 1000 मटी के 6 गोदाम वं तीन कम्पोजिट यूनिट, पूर्णियां जिले में 500 मटी के 1 गोदाम वं 200 मटी के गोदाम, मोतिहारी जिले में 200 मटी के 1 गोदाम वं। सीरियल यूनिट कम्पोजिट, बेतिया जिला में 200 मटी के 6 गोदाम व प्रशिक्षण केन्द्र का निर्माण तथा दरभंगा जिले में 200 मटी के 3 गोदाम वं 500 मटी के गोदाम उद्घाटन किया साथ ही मोतिहारी जिले में 200 मटी के 2 गोदाम, दरभंगा जिलें में 500 मट्टी के 1 गोदाम वं पूर्णिया जिले में जिला केन्द्रीय सहकारी बैंक, शाखा भवन के निर्माण कार्य का शिलान्यास किया।
राज्य के बीस जिलों में परियोजना आच्छादित
समेकित सहकारी विकास परियोजना की शुरूआत वर्ष 1988 में राज्य के 2 जिलों यथा सासाराम व बक्सर (भोजपुर) में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में किया गया था जिसके सफलता को देखते हु वर्ष 2001 से राज्य के अन्य जिलों को भी इस योजना के तहत आच्छादित करने हेतु राज्य सरकार द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई। इस योजना के तहत 2001 से अब तक राज्य के बीस जिलों यथा गोपालगंज, मधुबनी गया, सीतामढी, आरा, छपरा, सीवान, कंमूर, खगडिया शिवहर, नालंदा, वैशाली, जहानाबाद, अररिया, पूर्वी चम्पारण (मोतिहारी), औरंगाबाद, बेगूसराय दरभंगा पश्चिमी चम्पारण (बेतिया) व पूर्णियों में कुल मो० 73792.56 लाख रूपये लागत मूल्य से परियोजना आच्छादित की गई। इस योजना के तहत 2001 से अब तक कुल 14 जिलों यथा गोपालगंज, मधुबनी, गया, सीतामढी, आरा, छपरा, सीवान्, कैमूर खगठिया, शिपहर, नालंदा, वैशाली, जहानाबाद, अररिया में कुल मो० 24496.57 रूपये की लागत मूल्य से परियोजना कार्यान्वित (पूर्ण) हो चुकी है। वर्तमान में राज्य के 06 जिलों में यथा मोतिहारी, औरंगाबाद, बेगूसराय, दरभंगा, बेतिया व पूर्णियों में कुल मो० 49255 88 लाख रूपये के लागत से परियोजना कार्यान्वित की जा रही है। इन जिलों के परियोजना की विस्तारित अवधि 31.03.2025 निर्धारित है।
परियोजना का उद्देश ग्रामीण अर्थव्यवस्था का उत्थान करना
परियोजना का मुख्य उद्देश्य सहकारी समितियों के माध्यम से ग्रामीण अर्थव्यवस्था कार उत्थान करना, भौतिक अधिसंरचना का निर्माण, ग्रामीण स्तर पर उत्पादित वस्तुओं के भंडारण वं विपणन की व्यवस्था समितियों को व्यवसायरत वं आर्थिक रूप से सुदृद्ध बनाने हेतु कार्यशील पूजी उपलब्ध कराना व सहकारी प्रक्षेत्र में मानव संसाधन का विकास है। इस कार्यक्रम में माननीय मंत्री, सहकारिता विभाग ने कहा कि समेकित सहकारी विकास परियोजना के कालबद्ध परियोजना है जिसकी अवधि 31 मार्च 2025 है। मंत्री ने सभी 6 जिलों में क्रियान्वित समेकित सहकारी विकास परियोजना के महाप्रबंधकों को निर्देश दिया कि परियोजना के कार्य को ससमय पूर्ण करे। साथ ही विभागीय पदाधिकारियों को भी निर्देश दिया कि वे निरंतर जमीनी स्तर पर कार्य का भौतिक निरीक्षण कर कार्य में तेजी लाए।
बिहार में बड़े पैमाने पर रोजगार का मिलेगा अवसर
मंत्री ने औरंगाबाद जिले के ओबरा प्रखण्ड में महफिल- कालीन प्राथमिक बनुकार सहयोग समिति का उल्लेख करते हु उनके कार्यों की काफी सराहना की और कहा कि यह समिति काफी अच्छे कालीन का निर्माण कर रही है। से सहकारी समितियों को प्रोत्साहित करने की आवश्यकता है। मंत्री ने कहा कि सहकारी समितियों के बेतहर सथालन से बिहार में बड़े पैमाने पर रोजगार सुजन भी होगा और लोगों का राज्य से पलायन भी रूकेगा। मंत्री ने वेजफेड मत्स्य सहयोग समितियां, बुनकर सहयोग समितियां, मधु सहयोग समितियों के कार्यों की सराहना करते हुए, कहा की इसे और भी उचाईयों तक ले जाने का प्रयास जारी रहना चाहिए। शारीफ विपणन 2024-26 में धान अधिप्राप्ति में पैक्स चुनाव के बाद आई तेजी का स्वागत किया साथ ही किसानों को पैक्सों ववं व्यापार मंडल के माध्यम से अधिक से अधिक चान विक्री कर न्यूनतम समर्थन मूल्य का लाभ उठाने का आग्रह किया। मंत्री ने विभाग द्वारा शुरू किये ऑन-लाईन अग्रिम धान बिक्री की सुविधा प्रदान करने और शिकायतों के निपटारे हेतु ऑनलाईन सुविधा प्रदान किये जाने का स्वागत किया।
योजना को समय से पूर्ण कराने में जिला प्रशासन करेगा सहयोग
सहकारिता विभाग के सचिव धर्मेन्द्र सिंह ने कहा कि इस परियोजना की अवधि मार्च 2025 निर्धारित है। इस समय अवधि का ध्यान रखते हुए योजना को ससमय पूर्ण कराये और इस कार्य में जिला प्रशासन से भी सहयोग लेते हु समस्याओं का शीघ्र निष्पादन कराना सुनिश्चित करें। विभाग के स्तर से भी संबंधित पदाधिकारी परियोजना के अनुश्रयण और तेजी से करने का निर्देश दिया। इस कार्यक्रम में धर्मेन्द्र सिंह सचिव सहकारिता विभाग इनायत खान, निबंधक सहयोग समितियों प्रमात कुमार अपर निबंधक, सहयोग समितियां, शंभुसेन कुमार, संयुका निबंधक सहयोग समितियों सहित अन्य विभागीय पदाधिकारी उपस्थित रहे।