Edited By Swati Sharma, Updated: 05 Sep, 2023 05:31 PM

18 सितंबर से 5 दिनों के संसद के विशेष सत्र में मोदी सरकार एक बहुत ही बड़ा ऐलान कर सकती है। सूत्रों के हवाले से बताया जा रहा है कि केंद्र सरकार संसद के विशेष सत्र के दौरान इंडिया का नाम बदलकर भारत करने के लिए एक नया प्रस्ताव ला सकती है। दरअसल,...
पटना(अभिषेक कुमार सिंह): 18 सितंबर से 5 दिनों के संसद के विशेष सत्र में मोदी सरकार एक बहुत ही बड़ा ऐलान कर सकती है। सूत्रों के हवाले से बताया जा रहा है कि केंद्र सरकार संसद के विशेष सत्र के दौरान इंडिया का नाम बदलकर भारत करने के लिए एक नया प्रस्ताव ला सकती है। दरअसल, राष्ट्रपति भवन की तरफ से 9 सितंबर के G20 रात्रिभोज के लिए भेजे निमंत्रण पत्र में प्रेसिडेंट ऑफ इंडिया की जगह प्रेसिडेंट ऑफ भारत लिखा गया था। इस पर कांग्रेस ने सरकार पर पलटवार करते हुए कहा, अब "यूनियन ऑफ स्टेट " पर भी हमला हो रहा है।
राजद ने केंद्र सरकार पर बोला हमला
वहीं इस मुद्दे पर राजद ने केंद्र सरकार पर हमला बोला है। राजद प्रवक्ता एजाज अहमद ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी और केंद्र सरकार के बारे में हम लोग पहले से ही कहते हैं कि यह भारत के संवैधानिक व्यवस्था पर यकीन नहीं रखती है। भारत के लोकतांत्रिक व्यवस्था पर यकीन नहीं रखती है और कहीं ना कहीं अपनी राजनीतिक हित के लिए यह हर काम करेगी, जो राजनीति, लोकतंत्र और लोकतांत्रिक व्यवस्था को कमजोर करने का काम करेगी। जो इंडिया है भारत के संविधान में निहित है और जो इंडिया के नाम को बदलने का सच है। यह स्पष्ट करता है कि बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के विचार को ये लोग अलग तरह से अपने हित में इस्तेमाल करना चाहते हैं। जिस दिन से इंडिया गठबंधन बना है इन लोगों को इंडिया नाम से ही घबराहट होने लगी है।

इस मुद्दे पर जदयू ने जताया ऐतराज
जदयू ने भी इस मुद्दे पर ऐतराज जताते हुए कहा है कि यह देश विविधताओं का देश है। यहां हर धर्म जाति के लोगों को समान अधिकार है। किसी एक व्यक्ति विशेष के या किसी एक पार्टी विशेष के उसूलों पर नहीं चलेगा। हमारी जो संस्कृति है, सभ्यता है, उसके अनुसार ही देश चलेगा। जिसने संविधान को रचा उस संविधान के अनुसार देश चलेगा कोई व्यक्ति अपने हिसाब से चलाएगा। वह किसी भी हाल में स्वीकार नहीं है। वहीं, इस मुद्दे पर सफाई देते हुए भाजपा प्रवक्ता रामसागर सिंह ने कहा है कि भारत तो हमारा पुराना नाम रहा है। इसमें कहां किसी को ऑब्जेक्शन होना चाहिए। अगर वह ऑब्जेक्शन करते हैं तो भारतीय संस्कृति को नकारने का काम कर रहे हैं। भारतीय संस्कृति से जुड़ा हुआ नाम है भारत। भारतवासियों का यह देश है। इंडिया का नाम भारत होता है तो इसमें गलत क्या है?
बता दें कि बीजेपी और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कई बड़े नेता पहले से ही भारतीय संविधान से इंडिया शब्द हटाने की मांग करते रहे हैं, लेकिन हाल में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के बयान ने सरकार पर दबाव बढ़ा दिया है। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि संसद के 18 से 22 सितंबर में होने वाले विशेष सत्र में सरकार इंडिया की जगह सिर्फ भारत करने से संबंधित संविधान में संशोधन का प्रस्ताव ला सकती है। हालांकि संसद के विशेष सत्र का आधिकारिक एजेंडा अभी जारी नहीं हुआ है।