Edited By Ramanjot, Updated: 03 Jul, 2023 04:47 PM

बिहार विधानसभा में कांग्रेस विधायक दल के नेता शकील अहमद खान ने कहा, ‘‘राज्य सरकार ने उचित विचार-विमर्श के बाद शिक्षकों की नई भर्ती के लिए प्रदेश का निवासी होने की अनिवार्यता को वापस लेने का निर्णय लिया होगा। यह एक जटिल मुद्दा है और इसे समग्रता में...
पटना: बिहार प्रदेश कांग्रेस ने राज्य में स्कूलों में शिक्षकों की नई भर्ती के लिए अधिवास नीति को वापस लेने के बिहार सरकार के फैसले का समर्थन किया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सरकार ने 27 जून को घोषणा की थी कि शिक्षकों की भर्ती के लिए अधिवास नीति नहीं अपनाई जाएगी। इसका विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के साथ-साथ महागठबंधन सरकार का बाहर से समर्थन कर रहे वाम दलों ने भी विरोध किया है।
"सरकार ने उचित विचार-विमर्श के बाद लिया निर्णय"
बिहार विधानसभा में कांग्रेस विधायक दल के नेता शकील अहमद खान ने कहा, ‘‘राज्य सरकार ने उचित विचार-विमर्श के बाद शिक्षकों की नई भर्ती के लिए प्रदेश का निवासी होने की अनिवार्यता को वापस लेने का निर्णय लिया होगा। यह एक जटिल मुद्दा है और इसे समग्रता में समझा जाना चाहिए।” कांग्रेस प्रदेश की महागठबंधन सरकार का हिस्सा है और नीतीश कुमार के मंत्रिमंडल में उसके दो मंत्री हैं।
"राज्य सरकार के फैसले में कुछ भी गलत नहीं"
राज्य सरकार के फैसले को सही ठहराते हुए खान ने कहा, ‘‘डोमिसाइल की शर्त को वापस लेने के सरकार के फैसले में कुछ भी गलत नहीं है। यदि हम राज्य में स्कूल शिक्षकों की नई भर्ती के लिए डोमिसाइल की शर्त को वापस नहीं लेते हैं, तो हमारे पास अन्य राज्यों में नौकरी चाहने वाले बिहार के उम्मीदवारों पर हमलों की निंदा करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं होगा। यदि हम सभी भारत के नागरिक हैं तो डोमिसाइल का प्रश्न कहां से आता है।'' उन्होंने कहा,“राज्य सरकार ने अच्छा निर्णय लिया है। हमें इसकी सराहना करनी चाहिए।”
हालांकि कांग्रेस नेता ने राज्य सरकार को नौकरी के इच्छुक उम्मीदवारों से वार्ता करने और उनकी शंका दूर करने की सलाह देते हुए कहा, ‘‘सरकार को नौकरी के इच्छुक उम्मीदवारों के साथ बातचीत करनी चाहिए जो इस फैसले का विरोध कर रहे हैं और नए नियम से संबंधित उनकी आशंकाओं को स्पष्ट करना चाहिए।'' अन्य राज्यों के निवासियों को शिक्षक की नौकरी के लिए आवेदन करने की अनुमति देने के राज्य सरकार के फैसले के खिलाफ शनिवार को सैकड़ों युवा बिहार की राजधानी में सड़कों पर उतर आए थे जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई की।