Arwal Assembly Seat: अरवल विधानसभा सीट के पिछले नतीजे II Bihar Election 2020

Edited By Ramanjot, Updated: 09 Oct, 2020 05:47 PM

बिहार के 243 विधानसभा सीटों में से एक अरवल विधानसभा सीट (Arwal Assembly Seat) है। अरवल जिले में स्थित यह विधानसभा क्षेत्र जहानाबाद लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र के अंतर्गत आता है।

अरवलः बिहार के 243 विधानसभा सीटों में से एक अरवल विधानसभा सीट (Arwal Assembly Seat) है। अरवल जिले में स्थित यह विधानसभा क्षेत्र जहानाबाद लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र के अंतर्गत आता है।

बता दें कि यह सीट साल 1951 से ही अस्तित्व में है। इस सीट पर पहली बार साल 1951 में विधानसभा के चुनाव (Vidhan Sabha Chunav) हुए और सोशलिस्ट पार्टी के गुदानी सिंह यादव चुनाव जीते। इसके बाद 1957 और 1962 में कांग्रेस (Congress) के बुधन मेहता लगातार दो बार चुनाव जीते। 1967 और 1969 में इस सीट पर सीपीआई (CPI) के एस.जौहर चुनाव जीते। 1972 में निर्दलीय रंग बहादुर सिंह विधायक चुने गए। 1977 में यह सीट जनता पार्टी के खाते में गई और बनेश्वर प्रसाद सिंह चुनाव जीते।

इसके बाद 1980, 1985 और 1990 में निर्दलीय कृष्ण नंदन प्रसाद सिंह लगातार तीन बार चुनाव जीते। 1995 में जनता दल के रविंद्र सिंह चुनाव जीते। 2000 में यह सीट राजद (RJD) के खाते में गई और अखिलेश प्रसाद यादव विधायक चुने गए। 2005 में लोक जनशक्ति पार्टी (LJP) के दुलारचंद सिंह यादव चुनाव जीतने में कामयाब रहे। 2010 में पहली बार यह सीट भारतीय जनता पार्टी (BJP) के खाते में गई और चितरंजन कुमार विधायक चुने गए जबकि 2015 में एक बार फिर से राजद (RJD) ने इस सीट को अपने नाम किया और रविंद्र सिंह दूसरी बार विधायक बने।

विधानसभा चुनाव 2015 के नतीजे
अब अगर आंकड़ों के हिसाब से बात करें तो साल 2015 के विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Chunav) में इस सीट पर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के रविंद्र कुमार ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) के चितरंजन कुमार को 14 हजार 810 वोटों से हराया और विधायक चुने गए। रविंद्र कुमार को कुल 55 हजार 295 वोट मिले थे जबकि दूसरे नंबर पर रहे चितरंजन कुमार को कुल 37 हजार 485 वोट मिले थे। वहीं तीसरे स्थान पर रहे सीपीएमएल के महानंद प्रसाद को कुल 21 हजार 354 वोट मिले थे।
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विधानसभा चुनाव 2010 के नतीजे
वहीं 2010 में हुए विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Chunav) के परिणामों पर नजर डालें तो इस सीट पर भारतीय जनता पार्टी (BJP) के चितरंजन कुमार ने सीपीएमएल के महानंद प्रसाद को 4 हजार 202 वोटों से हराया और विधायक चुने गए। चितरंजन कुमार को कुल 23 हजार 984 वोट मिले थे जबकि दूसरे नंबर पर रहे महानंद प्रसाद को कुल 19 हजार 782 वोट मिले थे। वहीं तीसरे स्थान पर रहे एलजेपी (LJP) के दुलारचंद सिंह को कुल 15 हजार 513 वोट मिले थे।
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विधानसभा चुनाव 2005 के नतीजे
वहीं 2005 में हुए विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Chunav) के परिणामों पर नजर डालें तो इस सीट पर लोजपा (LJP) के दुलारचंद सिंह ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) के रंजीत कुमार को 8 हजार 439 वोटों से हराया और विधायक चुने गए। दुलारचंद सिंह को कुल 33 हजार 810 वोट मिले थे जबकि दूसरे नंबर पर रहे रंजीत कुमार को कुल 25 हजार 371 वोट मिले थे। वहीं तीसरे स्थान पर रहे राजद (RJD) के मशरूर अहमद को कुल 11 हजार 445 वोट मिले थे।
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पिछले तीन चुनाव परिणामों पर नजर डालें तो इस सीट पर हर बार अलग-अलग पार्टी को जीत मिली है। इस बार बीजेपी (BJP) और जेडीयू (JDU) जहां एक साथ मैदान में है तो वहीं लोजपा (LJP) अलग चुनाव लड़ रही है। ऐसे में इस सीट पर किस पार्टी को जीत मिलेगी यह तो चुनाव परिणाम आने के बाद ही पता चलेगा।

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