Edited By Khushi, Updated: 31 Jul, 2024 05:39 PM
झारखंड के सरायकेला-खरसावां जिले में बीते मंगलवार तड़के मुंबई-हावड़ा मेल रेल हादसे के 36 घंटे बीत चुके हैं, लेकिन अभी तक हावड़ा मुंबई मुख्य रेल मार्ग में ट्रेनों का परिचालन शुरू नहीं हो पाया है।
रांची: झारखंड के सरायकेला-खरसावां जिले में बीते मंगलवार तड़के मुंबई-हावड़ा मेल रेल हादसे के 36 घंटे बीत चुके हैं, लेकिन अभी तक हावड़ा मुंबई मुख्य रेल मार्ग में ट्रेनों का परिचालन शुरू नहीं हो पाया है।
बताया जा रहा है कि घटनास्थल पर बचाव राहत का काम अब भी जारी है। रेल पटरी को दुरुस्त किया जा रहा है। घटना स्थल पर 140 टन की 4 क्रेन और कई जेसीबी मशीन की मदद से रेस्टोरेशन का काम जारी है। घटना स्थल पर रेलकर्मी और ठेका मजदूर रात भर रेल अधिकारियों के दिशा निर्देश पर युद्ध स्तर पर रेल पटरी को दुरुस्त करने में जुटे रहे। रेल की पटरियों को ठीक करने के साथ- साथ ट्रेन के क्षतिग्रस्त डिब्बों को क्रेन की मदद से एक एक कर हटाया जा रहा है। वहीं, दूसरे दिन भी चक्रधरपुर रेलवे अस्पताल में भर्ती रेल हादसे के घायलों का इलाज चल रहा है।
बता दें कि झारखंड के सरायकेला-खरसावां जिले में बीते मंगलवार तड़के मुंबई-हावड़ा मेल के कम से कम 18 डिब्बे पटरी से उतर गए। इस हादसे में 2 लोगों की मौत हुई। वहीं कई लोग घायल हुए हैं। मेल एक्सप्रेस के टकराते ही ट्रेन के चालक ने ब्रेक लगा दी। ब्रेक लगते ही ट्रेन से तेज आवाज करने लगी। तेज रफ्तार में होने के कारण मेल एक्सप्रेस के कोच एक-एक कर पटरियों से नीचे उतरने लगे और यात्री एक दूसरे एक ऊपर गिरने लगे। कुछ ही पल में वहां चीख-पुकार मच गई। वहीं, रेलवे ने झारखंड में ट्रेन दुर्घटना में मारे गए प्रत्येक व्यक्ति के परिजन को 10 लाख रुपए और गंभीर रूप से घायल हुए लोगों को पांच-पांच लाख रुपए की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की।