Edited By Ramanjot, Updated: 06 Jan, 2022 10:03 AM
पटना स्थित नालंदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल (एनएमसीएच) के कोविड नोडल अधिकारी डॉक्टर मुकुल कुमार सिंह ने बताया कि 65 वर्षीय मृतक पटना जिला के बख्तियारपुर का रहने वाला था और चार जनवरी को उसे भर्ती कराया गया था, बुधवार को उसकी मौत हो गई। बुधवार को नए मामलों...
पटनाः बिहार में बुधवार को कोरोना वायरस के 1,659 नए मामले सामने आए जो पिछले छह महीने में इस संक्रमण के सबसे अधिक मामले हैं। वहीं, एक मरीज की मौत हुई है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
पटना स्थित नालंदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल (एनएमसीएच) के कोविड नोडल अधिकारी डॉक्टर मुकुल कुमार सिंह ने बताया कि 65 वर्षीय मृतक पटना जिला के बख्तियारपुर का रहने वाला था और चार जनवरी को उसे भर्ती कराया गया था, बुधवार को उसकी मौत हो गई। बुधवार को नए मामलों की संख्या एक दिन पहले की तुलना में लगभग दोगुनी हो जाने के साथ उपचाराधीन मरीजों की संख्या 3697 पर पहुंच गई।
स्वास्थ्य और आपदा प्रबंधन विभागों के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने संवाददाताओं के साथ आंकड़ों को साझा करते हुए बताया कि केवल 63 रोगी अस्पताल में हैं जबकि शेष घरों में ही पृथक- वास कर रहे हैं। उन्होंने कम संख्या में अस्पताल में कोविड-19 मरीजों की भर्ती होने के लिए बड़ी संख्या में लोगों के टीका लगाए जाने की एक वजह होने की संभावना व्यक्त करते हुए कहा कि टीके पूरी तरह से इस बीमारी से रक्षा नहीं कर सकते हैं लेकिन वे संक्रमण की गंभीरता के खिलाफ एक बचाव के रूप में काम कर सकते हैं।
अमृत ने लोगों से अपने बच्चों का टीकाकरण कराने का भी आग्रह किया और बताया कि सोमवार से अब तक राज्य में साढ़े चार लाख नाबालिगों का टीकाकरण किया गया। बिहार में आमीक्रोन के केवल एक पुष्ट मामले के बारे में पूछे जाने पर अमृत ने कहा, ‘‘हमारी पहली जीनोम सीक्वन्सिंग सुविधा दो दिन पहले चालू हो गई है। रिपोर्ट आने में लगभग एक सप्ताह का समय लगता है। अब तक के संक्रमण के सामान्य व्यवहार से पता चलता है कि वर्तमान वृद्धि का काफी हद तक कारण ओमीक्रोन है, हालांकि कुछ मामले डेल्टा और डेल्टा प्लस स्वरूप के भी हो सकते हैं।'' इस बीच कोरोना संक्रमण से प्रदेश में अबतक हुई मौत को लेकर राज्य सरकार द्वारा एक नया आंकड़ा जारी किया गया है जिसमें 13,786 लोगों की मौत की पुष्टि होने की बात कही गई है।